Acharya Pandit Devendra Sharma Ji resides in the holy city of Mahakaleshwar, Avantika Tirth, Ujjain, Madhya Pradesh. Since his childhood, he has received in-depth education in Vedas and rituals under the guidance of his revered Gurudev in this sacred city. For the past *10+ years*, he has been conducting and overseeing various religious rituals and ceremonies on this divine land of Mahakaleshwar under the guidance of his Gurudev. Acharya Ji has traveled to various states and through *Yajnas, Mahamrityunjaya Japa, Chandi Path (Navchandi and Shatchandi), Griha Pravesh, Vastu Dosha Shanti, Business Obstruction Remedies*, and other special rituals, he has solved many complex problems. In *2010*, he received education in *Phalit Jyotish* under the mentorship of his revered Gurudev. Since then, he has been solving numerous issues through the study of horoscopes, analysis of doshas, and special rituals. To date, he has analyzed *over 2000 horoscopes* and resolved their doshas. In *2014*, Acharya Ji earned a *Postgraduate degree (M.A.) in Astrology* from Maharishi Panini Sanskrit Vedic University, Ujjain. Currently, he is imparting education to aspiring students interested in astrology and rituals through the *Shri Siddhivinayak Jyotish Center, Ujjain*.
कालसर्प दोष को कालसर्प योग भी कहा जाता है। यह योग तब बनता है जब सभी ग्रह राहु और केतु के बीच स्थित होते हैं। कालसर्प योग जीवन में हानि, दुविधा, और बाधाओं को सूचित करता है, और इससे अनेक लोगों को कष्ट का सामना करना पड़ा है। उज्जैन में कालसर्प दोष निवारण के लिए की जाने वाली यह पूजा व्यक्ति की अनुपस्थिति में भी संपन्न की जा सकती है।
यदि आपकी कुंडली में मंगल दोष है, तो घबराने की आवश्यकता नहीं है। शास्त्रों के अनुसार, उज्जैन, जो बाबा महाकालेश्वर की नगरी है, मंगल ग्रह का जन्म स्थान माना जाता है। यहां स्थित मंगल ग्रह के मंदिर में विशेष पूजा-अर्चना से मंगल दोष का निवारण संभव है।
भगवान मंगल की दही-भात से पूजा करना अत्यंत फलदायी मानी गई है, जिससे मंगल ग्रह शांत होते हैं और जीवन में शांति व संतुलन आता है। खासकर यदि मंगल ग्रह आपकी कुंडली के पहले, चौथे, सातवें, आठवें या बारहवें भाव में हो, तो यह पूजा आपके लिए विशेष रूप से लाभकारी है।
सौर मंडल के नवग्रह—सूर्य, चंद्र, मंगल, बुध, बृहस्पति, शुक्र, शनि, राहू और केतु—मानव जीवन के हर पहलू को प्रभावित करते हैं। हर ग्रह की अलग विशेषता होती है, जो हमारे स्वास्थ्य, धन, रिश्तों और करियर पर असर डालती है। ज्योतिष शास्त्र इन ग्रहों की स्थिति और प्रभाव को समझकर जीवन की समस्याओं और समृद्धि का समाधान देता है। ग्रहों के अशुभ प्रभाव कम करने के लिए पूजा, दान और मंत्र-जाप जैसे उपाय किए जाते हैं।
कोर्ट केस में विजय प्राप्ति के लिए उच्च न्यायालय से न्याय मिलने के उद्देश्य से विभिन्न धार्मिक और तांत्रिक उपाय किए जाते हैं। इसमें विशेष पूजा, हवन, मंत्र जाप और विशेष रूप से मंगल और बृहस्पति ग्रहों की शांति के लिए उपाय किए जाते हैं। इन उपायों से व्यक्ति के पक्ष में न्याय और निर्णय आता है, और कोर्ट केस में सफलता मिलती है।
विवाह बाधा निवारण के लिए विभिन्न तंत्र-मंत्र और पूजा विधियाँ अपनाई जाती हैं। इसमें कुंडली दोष और ग्रहों के अशुभ प्रभाव को शांत करने के लिए हवन, मंत्र जाप और विवाह के योग्य मुहूर्त में पूजा की जाती है। साथ ही, देवी लक्ष्मी, पार्वती और भगवान गणेश की विशेष पूजा से विवाह में आ रही रुकावटें दूर होती हैं और समृद्धि एवं सुखी वैवाहिक जीवन की प्राप्ति होती है।
ऋण मुक्ति पूजा एक विशेष पूजा है जो आर्थिक संकट और ऋण से मुक्ति पाने के लिए की जाती है। इस पूजा में देवी लक्ष्मी, गणेश, और कुबेर की पूजा होती है। विशेष मंत्रों का जाप, हवन और दान के माध्यम से व्यक्ति की वित्तीय समस्याएँ दूर होती हैं। यह पूजा आर्थिक समृद्धि और ऋण मुक्ति के लिए प्रभावी मानी जाती है, जिससे जीवन में सुख और शांति आती है।
326, Giriraj Ratan Colony, Sector A – Kanipura Road, Ujjain (M.P.) 456010
फोन : +91 9691035740
ईमेल : panditdevendrasharma02@gmail.com
कालसर्प पूजा विशेषज्ञ के रूप में, गुरुजी ने इस पूजा में विशेष निपुणता हासिल की है। उन्होंने अब तक अनगिनत शांति पूजा और यज्ञ संपन्न किए हैं, जिनसे यजमानों को तुरंत ही उत्कृष्ट परिणाम प्राप्त हुए हैं।
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